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G20 Summit 2023: जी-20 समिट से जुड़े सारे सवाल-जवाब, जानें कब और क्यों हुआ गठन, क्या है इसका महत्व

G20 Summit 2023 in Delhi: देश में जी 20 सम्मेलन को लेकर जोर-शोर से तैयारियां की जा रही हैं. आगामी 9 से 10 सितंबर को देश की राजधानी दिल्ली में जी 20 शिखर सम्मेलन का आयोजन होने जा रहा है. इसको सफल बनाने के लिए भारत सरकार किसी भी तरह कसर नहीं छोड़ना चाहती है. आपको बता दें कि इस शिखर सम्मेलन में शामिल होने के लिए दुनिया भर से शीर्ष नेता आ रहे हैं. इनमें अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन, यूके पीएम ऋषि सुनक और फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों सहित दुनिया के 19 देशों के प्रमुख आ रहे हैं.

जी 20 समूह दुनिया के 20 सबसे ताकतवर देशों का समूह है. इस समूह की स्थापना साल 1999 में किया गया था. उस वक्त आर्थिक संकट से निपटने के लिए दुनिया के बड़े-बड़े देशों के वित्त मंत्री सहित सेंट्रल बैंक के गवर्नरों ने एक साथ मिलकर एक समूह का गठन किया, जो आर्थिक मुद्दों पर विचार-विमर्श कर सके.

G 20 summit 2023, जी 20 समूह का गठन कब और क्यों हुआ:

जी 20 समूह का गठन भले ही साल 1999 में किया गया, लेकिन अगले 8 सालों के बाद यानी साल 2007 में आए वैश्विक आर्थिक और वित्तीय संकट के मद्देनजर रखते हुए इस समूह में देश के प्रमुखों को भी शामिल कर लिया गया. इसके 2 सालों बाद यानी साल 2009 में अंतर्राष्ट्रीय आर्थिक सहयोग के लिए प्रमुख मंच घोषित कर दिया गया.

हर साल G20 शिखर सम्मेलन का आयोजन राष्ट्रपति पद के नेतृत्व में किया जाता है, जो इसका हेड होता है. इस बार इसकी अध्यक्षता भारत कर रहा है, जिसके प्रमुख पीएम नरेंद्र मोदी है.

हालांकि, बाद में G 20 summit 2023ने अपने एजेंडे का विस्तार करते हुए अन्य जरूरी मुद्दों को भी शामिल करना शुरु कर दिया, जिसमें व्यापार, सतत विकास, स्वास्थ्य, कृषि, ऊर्जा, पर्यावरण, जलवायु परिवर्तन और भ्रष्टाचार विरोधी को भी शामिल किया है.

कैसे काम करती है G 20 समूह

G20 summit 2023, G20 की अध्यक्षता किसी भी देश को एक साल के लिए दी जाती है. इस मौके पर जी 20 की अध्यक्षता करने वाले देश के साथ मिलकर अन्य देश के प्रमुख विभिन्न मुद्दों पर चर्चा करते हैं, जिसमें आर्थिक पक्ष से लेकर अंतरराष्ट्रीय विषय तक शामिल होता है. इसमें दो समानांतर ग्रुप (ट्रैक) शामिल होते हैं. एक होता है फाइनेंस ग्रुप (ट्रैक) और दूसरा शेरपा ग्रुप (ट्रैक). वित्त ग्रुप (ट्रैक) का नेतृत्व G20 समूह में शामिल देशों के वित्त मंत्री और केंद्रीय बैंक के गवर्नर करते हैं.

वहीं शेरपा ग्रुप (ट्रैक) का नेतृत्व जी 20 प्रक्रिया में शामिल समन्वय सदस्य देशों के शेरपाओं की तरफ से किया जाता है, जो नेताओं के निजी दूत होते हैं. इनमें एक एंगेजमेंट समूह भी शामिल होते हैं, जो G20 देशों के नागरिक समाजों, सांसदों, थिंक टैंकों, महिलाओं, युवाओं, श्रमिकों, व्यवसायों और शोधकर्ताओं को एक साथ लाते हैं और उनके तरफ से पेश किए गए बातों को सम्मेलन में रखते हैं.

आपको बता दें कि जी 20 समूह के पास कोई स्थायी सचिवालय नहीं है. किसी भी देश को प्रेसीडेंसी दिलाने के लिए ट्रोइका का समर्थन प्राप्त करना जरूरी होता है. हर ट्रोइका में तीन देश को शामिल किया जाता है, जिसमें पिछली, मौजूदा समय और आने वाली प्रेसीडेंसी देश शामिल होती है. उदाहरण के तौर पर भारत की अध्यक्षता के दौरान ट्रोइका में इंडोनेशिया, भारत और ब्राजील शामिल होंगे. यानी अगले साल जी 20 की अध्यक्षता ब्राजील करेगा.

 

 

G20 summit 2023 में कितने देश शामिल है

जी 20 समूह में दुनिया के 20 सबसे ताकतवर देश शामिल है.

1.अर्जेंटीना

2.ऑस्ट्रेलिया

3.ब्राज़ील

4.कनाडा,

5.चीन

6.फ्रांस

7.जर्मनी

8.भारत

9.इंडोनेशिया

10.इटली

11.जापान

12.रिपब्लिक ऑफ़ कोरिया

13.मेक्सिको

14.रूस

15.सऊदी अरब

16.दक्षिण अफ्रीका

17.तुर्किए

18.यूनाइटेड किंगडम

19.अमेरिका

20.यूरोपियन यूनियन (यूरोप के देशों का मजबूत समूह)

 

G20 summit 2023 हताशा के समय में आशा देता है जी-20 का Logo

 

प्रधानमंत्री ने भी लोगो के अनावरण के दौरान कहा था कि भारत के पास जी-20 की अध्यक्षता एक ऐसे समय में आ रही है जब पूरा विश्व एक क्राइसिस से गुजर रहा है। सदियों में एक बार आने वाली कोरोना जैसी महामारी के आफ्टर इफेक्ट से लोग गुजर रहे हैं।

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ऐसे में जी-20 का लोगो इस हताशा के समय में भी आशा देता है कि हम जरूर सभी परेशानियों से पार पाते हुए कमल की तरह ही खिल उठेंगे। यहां तक कि अगर पूरी दुनिया में भी क्राइसिस है तब भी हम विकास कर सकते हैं और दुनिया को एक अच्छी जगह बना सकते हैं।

 

G20 summit 2023 लोगो और थीम:

G20 लोगो भारत के राष्ट्रीय ध्वज के जीवंत रंगों – केसरिया, सफेद और हरे और नीले रंग से प्रेरित है. इसमें धरती को भारत के राष्ट्रीय फूल कमल से जोड़ा गया है, जो चुनौतियों के बीच विकास को दर्शाता है. धरती जीवन के प्रति भारत के ग्रह-समर्थक दृष्टिकोण को दर्शाती है, जो प्रकृति के साथ पूर्ण सामंजस्य रखता है.

G20 लोगों के नीचे देवनागरी लिपि में भारत लिखा हुआ है. भारत की G20 प्रेसीडेंसी का थीम “वसुधैव कुटुंबकम” या “एक पृथ्वी· एक परिवार · एक भविष्य” है,

जिसे महा उपनिषद के प्राचीन संस्कृत पाठ से लिया गया है.

 

 

 

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